राउर भोली सुरतिया निहारल करीं।

रउरे बतिया हमेशा विचारल करीं।।

रउरे सजला संवरला से नाही बनीं

रउआँ हमहुँ के तनिका संवारल करीं।।

 रउरे मिनहा करब हम निहोरा करब

मनवा बूड़ल करे हम उबारल करीं।।

प्रीत के रीत का हS बताईं तनी

रउआँ बोलल करीं हम तिखारल करीं।।

रेत पर प्यार के एक महल प्यार से

ऊ बिगारल करें हम सहारल करीं।।

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