वो बुरा है ,

क्योंकि गैर-बिरादर है ।

वह भी बुरा है ,

क्योंकि मेरा बिरादर है 

पर गैर पार्टी में है ।

वह बहुत बुरा है 

मेरा बिरादर है 

पर मेरी पार्टी में 

मेरे बराबर बैठना  चाहता  है।।

Comments

Popular posts from this blog

भोजपुरी लोकगीत --गायक-मुहम्मद खलील

श्री योगेश छिब्बर की कविता -अम्मा

र: गोपालप्रसाद व्यास » साली क्या है रसगुल्ला है