चलो मुस्कुराने की आदत बनायें।
कि हँसने हँसाने की आदत बनायें।।
कभी मुस्कुराने की आदत बनायें।
कभी खिलखिलाने की आदत बनायें।।
ज़माना सुनेगा ठठाकर हँसेगा
चलो ग़म छुपाने की आदत बनायें।।
सफ़र में मक़ामात आते रहेंगे
नये हर ठिकाने की आदत बनायें।।
किसी के निवालों पे पलने से बेहतर
कमाकर के खाने की आदत बनायें।।
सभी को है जाना सुरेश एक दिन जब
तो हँस कर ही जाने की आदत बनायें।।
सुरेश साहनी, कानपुर
9451545132
Comments
Post a Comment