कल जब हम चल देंगे तब पछताओगे।



कल जब हम चल देंगे तब पछताओगे।
तब कितना भी चाहो रोक न पाओगे।।कल....
अभी तुम्हारी रातें बहुत रुपहली हैं
अभी तुम्हारे दिन भी बहुत सुनहरे हैं।
अभी तुम्हारी चाल देखने की खातिर
चाँद सितारे चलते ठहरे ठहरे हैं।।
चन्द दिनों के बाद अमावस आनी है
इन सब बातों पर कब तक इतराओगे।।कल....
वैसे तेरा इंतज़ार तो अब भी है
ये दिल कुछ कुछ बेकरार तो अब भी है।
वैसे पहले जैसी दीवानगी कहाँ
प्यार का पर थोड़ा बुखार तो अब भी है।।
पर जो गांठ हृदय में तुमने डाली थी
इसके रहते कैसे नजर मिलाओगे।।कल.....

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